Thursday, June 17, 2010

श्री राजीव लोचन - राजिम कुम्भ विशेषांक

छ्त्तीसगढ़ शासन के प्रयासों ने राजिम के  " पुन्नी- मेला " को "राजिम कुम्भ" बनाया । यहां भगवान श्री राजीव लोचन जी का प्राचीनतम मंदिर  और  पौराणिक महत्व दर्शाता एक आदम कद श्री विग्रह है । चित्रोत्पला गंगा कही जाने वाली महानदी में यहां पैरी और सोंढ़ुल नदियां मिलती हैं ,जिससे बने त्रिवेणी संगम पर यहां लाखों श्रद्धालु पुण्य स्नान करते हैं । इस विशेष अंक में आस्था और रोमांच का अनोखा तीर्थ राजीम , पंचकोशी शिव मन्दिरों  का सविस्तार वर्णन है , साथ ही देश में होने वाले चार प्रमुख महाकुम्भों का भी विस्तार पूर्वक वर्णन किया गया है । इस विशेषांक को पुराणों की मदद से तैयार किया गया है । भाग्योत्कर्ष के सभी अंक    कुशल बुक पॉइंट  पुराने बस स्टैण्ड ,रायपुर से प्राप्त किये जा सकते हैं ।